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वा᭨मीᳰक रामायण म ᱶपरुाक᭨पन
Author(s) -
Sureshbhai Patel
Publication year - 2020
Publication title -
towards excellence
Language(s) - Hindi
Resource type - Journals
ISSN - 0974-035X
DOI - 10.37867/te120314
Subject(s) - geology
भारतीय सं᭭कृ त सािह᭜यकᳱ शुᱧआत वैᳰदक सािह᭜य से होती है। ऋवेद आᳰद वेदᮢयी,ᮩाᳬण ᮕंथ, आर᭛यक ᮕंथ और उपिनषद्। इस ᮧकार यह सब वैᳰदक सािह᭜यके ᱨप मᱶ जानाजाता है । इसके अलावा अ᭠य सािह᭜य को ᮧिश᳥ या लौᳰकक सं᭭कृ त सािह᭜यके ᱨप म जाना ᱶजाता है । लौᳰकक सं᭭कृत सािह᭜यकᳱ शुᱧआत आᳰदकिव वा᭨मीᳰक ᳇ारा रिचत रामायण सेहोती है। िजसेबालका᭛ड आᳰद सात का᭛डᲂ म िवभािजत ᱶ ᳰकया गया ह।ैिव᭄ानके इस युग मᱶ, वा᭭तिवक ि᭭थित कᳱ खोज एक ही शोध का मुय ल᭯य बन गया है,इसके बारे म कई अटकल ᱶ और कहािनयां थी ᱶ । उनसे पहले, िव᭄ान कᳱ उ᮫ ने उ᭠ह एक ᱶि᭭थर िसतारा बना ᳰदया था । ताᳰक पᳯरक᭨पनाᲐ पर संदेह हो । ऐसी कहािनयाँᳰक िजनमᱶव᭛यᭅिवषय, चᳯरᮢ, घटनाएँ आᳰद को भौितक िव᭄ानकᳱ दिृ᳥कोण से िस नहᱭ ᳰकया जासकता है। उनके अ᭟ययनका ᭟यान आलोचनाकᳱ ओर गया और ऐसेअ᭟ययनके ᭃᮢे को 'िमथ'या 'िमथक' के ᱨप मᱶजाना जाता ह।